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ज्योतिष क्यों जरूरी

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आज मानव जिंदगी बहुत ज्यादा उतार-चढ़ावों से भरी हुई है। कभी कोई घटना हमें आष्चर्य में डाल देती है तो कभी स्तब्ध भी करती है। कभी-कभी हम इतनी ज्यादा निराषा में पड़ जाते हैं कि चेतना शक्ति शून्य होती दिखाई देती है। कई बार हमें लगता है कि किस्मत धोखा दे रही है। पूरे प्रयास के उपरांत भी सफलता हमसे दूर ही रहना चाहती हैं तो कई बार रिष्तों के साथ हमें तनाव सताता है। हमें प्राप्त उपलब्धियों से हम स्वयं को भाग्यषाली नहीं मानते किंतु कुछ विपरीत होते ही अपने को दुर्भाग्यषाली की श्रेणी में जरूर खड़ा पाते हैं। हमें हर परिस्थिति में एक मार्गदर्षक की तलाष करते रहते हैं जो हमें सुख-दुख के साथ भविष्य के प्रति आस्था और विष्वास बनाये रखने में मदद करें तो हमारी उत्सुकता आने वाले कल में भी रहती है कि अगले चरण में हमारे साथ क्या होने वाला है और हमारे किस प्रकार के प्रयास से हमें लाभ मिल सकता है या कोई हानि हो तो क्या सावधानी हमें उस हानि से बचा सकती है। ऐसा क्या है कि कोई अमीर तो कोई गरीब किसी की कम योग्यता के बावजूद उच्च पद प्राप्त होता है तो कोई बहुत प्रयास के बाद भी सामान्य सुविधा नहीं जुटा पाता। भविष्य को जानने की जिज्ञासा मानवीय प्रकृति का अंग है। भविष्य विज्ञान की विभिन्न परंपराओं में से एक परंपरा प्राचीन काल से बहुत सफल मानी जाती है, जिसके द्वारा इन सभी का जवाब हमें प्राप्त हो सकता है और वह परंपरा अतीत या वर्तमान के साथ भविष्य की जिज्ञासाओं को भी शांत करने में बहुत हद तक सार्थक साबित हुई है। अतः जीवन के विभिन्न सुख-दुख, लाभ-हानि तथा सफलता-असफलता का आकलन कर उससे पर्याप्त सुख प्राप्त करने तथा दुख या हानि की स्थिति में बचाव का उपाय सुझाती है, इस विज्ञान को ज्योतिष शास्त्र कहा जाता है।

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ज्योतिष के बारह भाव में जीवन के प्रत्येक अंग का विवेचन छुपा हुआ है, जिसमें स्थिति ग्रह, उस ग्रह के स्वामी तथा उस स्वामी ग्रह की स्थिति का आकलन कर पूरे जीवनचक्र की विवेचना किया जाना संभव है। आज से नये साल की शुरूआत हो रही है अतः बारह राषियों के जातकों के पूरे साल में उनके विभिन्न क्षेत्रों में जीवन के सुख-दुख, लाभ-हानि, सफलता-असफलता तथा जीवन से जुड़े विभिन्न पहलुओं के अनुसार आपका आने वाला साल कैसा होगा तथा उसके अनुरूप उपाय क्या हो सकता है। जानते हैं, बारह राषियों के जातकों के कुंडली विष्लेषण से कि उनका वर्ष, 2012 उनके लिए क्या खुषियाॅ लेकर आने वाला है तो उनके स्वास्थ्य तथा षिक्षा की स्थिति क्या होगी तथा यदि कोई विपरीत परिस्थिति है तो उनके उपाय क्या होंगे|