HomeOther Articlesलिङ्गाष्टकं स्तोत्र Jun. 13, 2025 at 3:22 pmOther Articlesलिङ्गाष्टकं स्तोत्रJunior EditorJune 13, 202513viewsलिङ्गाष्टकं स्तोत्र: ब्रह्ममुरारिसुरार्चितलिङ्गं निर्मलभासितशोभितलिङ्गम् । जन्मजदुःखविनाशकलिङ्गं तत् प्रणमामि सदाशिवलिङ्गम् ॥ 1 ॥ देवमुनिप्रवरार्चितलिङ्गं कामदहं करुणाकरलिङ्गम् । रावणदर्पविनाशनलिङ्गं तत् प्रणमामि सदाशिवलिङ्गम् ॥ 2 ॥ सर्वसुगन्धिसुलेपितलिङ्गं बुद्धिविवर्धनकारणलिङ्गम् । सिद्धसुरासुरवन्दितलिङ्गं तत् प्रणमामि सदाशिवलिङ्गम् ॥ 3 ॥ कनकमहामणिभूषितलिङ्गं फणिपतिवेष्टितशोभितलिङ्गम् । दक्षसुयज्ञविनाशनलिङ्गं तत् प्रणमामि सदाशिवलिङ्गम् ॥ 4 ॥ ALSO READ अर्धनारीश्वराष्टकम्Tags :#DivineShiva#HarHarMahadev#Lingashtakam#LordShiva#OmNamahShivaya#ShivaBhakti#ShivaDevotion#Shivalinga#ShivaStotra#लिङ्गाष्टकं#शिवनाम#शिवभक्ति#शिवमहिमा#शिवशक्ति#शिवस्तोत्र#श्रीमहाकालधाम_अमलेश्वर#हरहरमहादेवastroshrineMahadevpandit ps tripathiShri Mahakaal Dhamअम्लेश्वर का श्री महाकाल धामभोलेनाथमहादेवशिवलिंगJunior Editorview all postsश्री शिव सहस्त्रनाम भूतनाथ अष्टकम्You Might Also LikeOther Articlesवृक्ष, वास्तु और विनाश का विज्ञान: क्यों घर में केला नहीं, तुलसी होनी चाहिए?Junior EditorJuly 8, 2025Other Articlesश्री महा-विपरीत-प्रत्यंगिरा स्तोत्रJunior EditorJuly 8, 2025Other Articlesसम्राट अशोक महान और महाकाल की कथाJunior EditorJune 27, 2025Other Articles“सर्पशाप और महाकाल: कलचुरी वंश की खोई संतानेंJunior EditorJune 27, 2025Other Articlesमहाकाल और कलचुरी राजकुमार रुद्रसेन की कथाJunior EditorJune 27, 2025June 27, 2025Other Articlesमहाकाल कृपा की तीन कथाएंJunior EditorJune 27, 2025
Other Articlesवृक्ष, वास्तु और विनाश का विज्ञान: क्यों घर में केला नहीं, तुलसी होनी चाहिए?Junior EditorJuly 8, 2025